मंगलवार 6 मई 2025 - 13:21
हौज़ा-ए-इल्मिया क़ुम इस्लामी दुनिया में धार्मिक शिक्षा का सबसे बड़ा शैक्षणिक केंद्र है।

हौज़ा / आरान व बिदग़ल के इमाम ए जुमआ हुज्जतुल इस्लाम अली रज़ा फरहंग ने कहा, आज हौज़ा-ए-इल्मिया क़ुम, सभी धार्मिक शिक्षण संस्थानों की अग्रिम पंक्ति में एक चमकता हुआ नाम है और यह पूरे इस्लामी जगत में धार्मिक शिक्षा का सबसे बड़ा शैक्षणिक केंद्र है।

हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार,आरान व बिदग़ल के इमाम ए जुमआ हुज्जतुल इस्लाम अली रज़ा फरहंग ने कहा हौज़ा-ए-इल्मिया क़ुम की सौ वर्षों की उपलब्धियों की ओर इशारा करते हुए कहा,हौज़ा-ए-इल्मिया क़ुम एक प्राचीन और स्थायी धार्मिक संस्था है, जिसे दिवंगत आयतुल्लाह शेख अब्दुलकरीम हैरी यज़दी की दूरदर्शिता और महानता के कारण सन् 1301 हिजरी शम्सी (1922 ई.) में एक नया जीवन मिला और इसने औपचारिक रूप से नई गतिविधियाँ शुरू कीं।

उन्होंने कहा,हौज़ा-ए-इल्मिया क़ुम धार्मिक शिक्षण संस्थानों में अग्रणी है और इस्लामी दुनिया में सबसे बड़ा धार्मिक शैक्षणिक केंद्र माना जाता है। इस संस्थान ने महान और उत्कृष्ट व्यक्तित्वों और विद्वानों को प्रशिक्षित किया है, जिनकी भूमिका इस्लामी दुनिया में होने वाले परिवर्तनों में अद्वितीय रही है।

हुज्जतुल इस्लाम फरहंग ने आगे कहा,आयतुल्लाह बुरूजर्दी और आयतुल्लाह बाफ़क़ी जैसे विद्वान भी इसी हौज़ा में प्रशिक्षित हुए, जिन्होंने अत्याचार और अहंकार के खिलाफ जनता का मार्गदर्शन किया।उन्होंने कहा,इमाम खुमैनी (रह.) भी हौज़ा-ए-इल्मिया क़ुम के प्रशिक्षित थे, और आज भी अनेक विद्वान उसी मार्ग पर चल रहे हैं, जो इस हौज़े की बरकतों में से एक है।

आरान व बिदग़ल के इमामे-जुमा ने कहा,हौज़ा-ए-इल्मिया क़ुम विभिन्न धार्मिक विषयों पर अनेक कक्षाओं का आयोजन कर वर्तमान समय के संदेहों और समस्याओं का प्रभावी उत्तर दे रहा है। आज यह हौज़ा विभिन्न इस्लामी विषयों में विशेषज्ञ छात्रों को प्रशिक्षित कर विलायत और फिक़्ह (इस्लामी न्यायशास्त्र) की रक्षा का ध्वज थामे हुए है।

उन्होंने आगे कहा,आज हौज़ा-ए-इल्मिया क़ुम इस्लामी दुनिया का केंद्र बन चुका है और विभिन्न देशों से बड़ी संख्या में स्नातक छात्र इसकी ओर आकर्षित हो चुके हैं।

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